मूंग दाल कचौड़ी (mung daal kachori recipe in Hindi)

Sangita Agrawal
Sangita Agrawal @cook_24418327
Odisha

#ebook2020
#state1
राजस्थानी खाना .... यह सुनते ही आंखों के सामने शाही भोजन का थाल आ जाता है। तीखे, खट्टे ,चटपटे भोजन को जिस शाही अंदाज में वहां बनाया जाता है और जिस शाही अंदाज में उसे वहां परोसा जाता है दोनों ही काबिले तारीफ है। वहां की जमीन पर सब्जियों की भरमार ना होने के बाद भी जो भोजन बनाया जाता है वह सब को उंगलियां चाटने पर मजबूर कर देता है। राजस्थान की एक ऐसी ही विशेषता है वहां की मूंग दाल की कचौड़ी। इसका स्वाद तो अनुपम होता ही है साथ ही इसे आप अनेकों प्रकार से परोस भी सकते हैं कभी कड़ी पत्तेके साथ ,कभी दही चटनी के साथ तो कभी यूं ही अकेले चाय के साथ और यह हर रूप में बेहद स्वादिष्ट लगती है।

मूंग दाल कचौड़ी (mung daal kachori recipe in Hindi)

#ebook2020
#state1
राजस्थानी खाना .... यह सुनते ही आंखों के सामने शाही भोजन का थाल आ जाता है। तीखे, खट्टे ,चटपटे भोजन को जिस शाही अंदाज में वहां बनाया जाता है और जिस शाही अंदाज में उसे वहां परोसा जाता है दोनों ही काबिले तारीफ है। वहां की जमीन पर सब्जियों की भरमार ना होने के बाद भी जो भोजन बनाया जाता है वह सब को उंगलियां चाटने पर मजबूर कर देता है। राजस्थान की एक ऐसी ही विशेषता है वहां की मूंग दाल की कचौड़ी। इसका स्वाद तो अनुपम होता ही है साथ ही इसे आप अनेकों प्रकार से परोस भी सकते हैं कभी कड़ी पत्तेके साथ ,कभी दही चटनी के साथ तो कभी यूं ही अकेले चाय के साथ और यह हर रूप में बेहद स्वादिष्ट लगती है।

रेसिपी एडिट करें
रिपोर्ट
शेयर कीजिए
शेयर कीजिए

सामग्री

45मि
  1. कचौड़ी का आटा लगाने की सामग्री
  2. 2 कपमैदा
  3. 2 चम्मचतेल मोयन के लिए
  4. स्वादानुसारनमक
  5. कचौड़ी का मसाला
  6. 1/2 कपमूंग की दाल
  7. 4 चम्मचतेल
  8. 1.5 चम्मचजीरा
  9. 2 चम्मचमोटी सौंफ
  10. 1 चम्मचक्रश किया हुआ सूखा धनिया
  11. 1/4 चम्मचहींग
  12. 2 चम्मचधनिया पाउडर
  13. 1 चम्मचहल्दी
  14. 1 चम्मचलाल मिर्च पाउडर
  15. 2 चम्मचबेसन
  16. स्वादानुसारनमक
  17. आवश्यकता अनुसार तलने के लिए तेल
  18. 2"अदरक का टुकड़ा
  19. 4-5हरी मिर्च

कुकिंग निर्देश

45मि
  1. 1

    मूंग की दाल को धोकर दो-तीन घंटे पानी में भिगो दें। उसके बाद मिक्सर में डालकर हरी मिर्च और अदरक के साथ दरदरा पीस लें।

  2. 2

    अब कढ़ाई में दो चम्मच तेल गर्म करें, इसमें हींग धनिया सौंफ हल्दी लाल मिर्च और बेसन डालकर धीमी आंच पर अच्छी तरह मिलाएं उसके बाद इसमें दाल डालकर धीमी आंच पर भूनें। भुन जाने पर दाल खिली खिली दिखने लगेगी। अब इसमें नमक मिला दें और गैस बंद कर दें।

  3. 3

    आटा लगाने के लिए एक बर्तन में मैदा नमक व तेल डालकर अच्छी तरह मिक्स करें उसके बाद धीरे धीरे पानी डालकर सख्त आटा गूंथे। आटे को 15 मिनट रेस्ट करने दें।

  4. 4

    आटे को एक बार फिर अच्छी तरह मलें और छोटी-छोटी लोइयां बना लें। एक लोई हथेली पर लेकर उसे चपटा करके कटोरी जैसा बना लें और उसमें एक चम्मच भुनी हुई दाल का मिश्रण भरें और किनारों को चिपका कर पोटली जैसी बना दें।

  5. 5

    अब इस पोटली को हल्के हाथ से किनारे से दबाते हुए गोलाकार में फैलाएं ऐसा करने से भरावन चारों तरफ अच्छी तरह फैल जाएगा। अब इस कचौड़ी को बेलन की सहायता से हल्का मोटा बेलें।

  6. 6

    कढ़ाई में तेल गर्म करें और मध्यम गर्म हो जाने पर कचौड़ी को तेल में डालें जब वह कचौड़ी फूल जाए तब उसमें दूसरी कचौड़ी डालें इसी तरह 3-4 कचौड़ियों को एक साथ तला जा सकता हैं। तलते समय आंच धीमी रखें। धीमी आंच पर तली हुई कचौड़ी 1 सप्ताह तक भी खराब नहीं होती।

  7. 7

    सुनहरी हो जाने पर कचौड़ी को बाहर निकाल लें अपनी मनपसंद कढी, हरी चटनी, इमली की चटनी और दही या फिर मसालेदार आलू की सब्जी के साथ सर्व करें।

रेसिपी एडिट करें
रिपोर्ट
शेयर कीजिए
Cook Today
Sangita Agrawal
Sangita Agrawal @cook_24418327
पर
Odisha
मुझे लगता है कि खाना बनाना और खाना, खाना दोनों ही एक कला है क्योंकि अगर खाना प्यार से ना बनाया जाये तो खाने में स्वाद नहीं आता और अगर प्यार से बनाया हुआ खाना प्यार से खाया ना जाये तो दिल बेस्वाद हो जाता है। शायद इसीलिए कहा गया है कि किसी के दिल का रास्ता उसके पेट से होकर गुजरता है।
और पढ़ें

Similar Recipes